गुजरे कल, बीते पल,
को सोचने से क्या होगा,
जो बीत गया वो कल था,
जो आएगा वो पल होगा,
आने वाले पल के लिए, सपने फिर से संजो लेना,
किसी के बदल जाने पर, खुद को बदल न देना ||
दगाबाज़ निकला वो,
इक पल में पलट गया,
चिकनी चुपड़ी बातें करके,
रिश्तों को ठग गया ,
सनम बेवफ़ा के लिए,
उस बेवफ़ा के लिए, भूल से भी हताश न होना,
किसी के बदल जाने पर, खुद को बदल न देना ||
जुर्रत की उसने,
कि तुझे कुचल सके,
अपनी बेरूखी से,
तेरी मासूमियत मसल सके ,
अपनी मासूमियत को कभी,
अपनी मासूमियत को कभी, अलविदा न कहना,
किसी के बदल जाने पर, खुद को बदल न देना ||
खोल दे अपने पंख,
नई उड़ान भर ले,
मुस्कुराहटों से,
फिर से दोस्ती कर ले,
अधूरे रह गए थे जो अरमां,
अधूरे रह गए थे जो अरमां, उन्हें पूरा कर लेना,
किसी के बदल जाने पर, खुद को बदल न देना ||
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